Surya Grahan 2025: 2025 का पहला सूर्य ग्रहण कब है ?
साल 2025 का पहला सूर्य ग्रहण 29 मार्च को लगेगा। यह आंशिक सूर्य ग्रहण होगा, जो यूरोप, एशिया, अफ्रीका, उत्तरी और दक्षिणी अमेरिका, अटलांटिक और आर्कटिक महासागरों के कुछ हिस्सों में दिखाई देगा। हालांकि, यह ग्रहण भारत में दृश्य नहीं होगा। ग्रहण का समय दोपहर 2:20 बजे से शाम 6:13 बजे तक रहेगा।
हिंदू पंचांग के अनुसार, यह ग्रहण चैत्र मास की अमावस्या तिथि को लगेगा, जो हिंदू नव वर्ष और चैत्र नवरात्रि की शुरुआत का प्रतीक है। चूंकि यह ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा, इसलिए यहाँ सूतक काल मान्य नहीं होगा।
सूर्य ग्रहण की पौराणिक कथा:
पौराणिक कथाओं के अनुसार, समुद्र मंथन के दौरान अमृत के वितरण के समय, एक दानव स्वरभानु ने देवताओं का रूप धारण कर अमृत पान कर लिया। सूर्य और चंद्रमा ने उसे पहचान लिया और भगवान विष्णु को सूचित किया। भगवान विष्णु ने अपने सुदर्शन चक्र से स्वरभानु का सिर धड़ से अलग कर दिया। अमृत पान करने के कारण वह मरा नहीं, बल्कि उसका सिर ‘राहु’ और धड़ ‘केतु’ के नाम से जाना गया। तब से राहु और केतु सूर्य और चंद्रमा से प्रतिशोध लेते हैं, जिससे सूर्य ग्रहण और चंद्र ग्रहण होते हैं।
सूर्य ग्रहण के दौरान अपनाए जाने वाले उपाय:
सूर्य ग्रहण के समय कुछ विशेष उपाय अपनाने से नकारात्मक प्रभावों से बचा जा सकता है:
*ग्रहण से 12 घंटे पहले सूतक काल शुरू होता है। इस दौरान भोजन, जल ग्रहण, और शुभ कार्यों से परहेज करें।
तुलसी के पत्तों का उपयोग करें:
खाद्य पदार्थों में तुलसी के पत्ते डालें, जिससे वे दूषित न हों।
ग्रहण के दौरान मंत्र जाप करें:
ग्रहण के समय मंत्र जाप और ध्यान करने से सकारात्मक ऊर्जा प्राप्त होती है।
दान-पुण्य करें:
ग्रहण समाप्ति के बाद जरूरतमंदों को दान करें, जिससे ग्रहण के दुष्प्रभाव कम होते हैं।
स्नान करें:
ग्रहण के बाद पवित्र स्नान करें और स्वच्छ वस्त्र धारण करें।